कार्य समिति की बैठक में अध्यक्ष की होगी घोषणा
19 जून को कार्य समिति की बैठक में नए अध्यक्ष की घोषणा होगी. अध्यक्ष पद के लिए सिर्फ वही नामांकन दाखिल कर सकते हैं. लंबे समय तक आरजेडी में थे. उसके बाद जेडीयू में चले गए थे. इसी साल जनवरी में जेडीयू छोड़ वापस आरजेडी में आ गए थे. मंगनी लाल मंडल अति पिछड़ों के बड़े नेता माने जाते हैं. उनकी उम्र करीब 76 साल है.
1986 से 2004 तक बिहार विधान परिषद के सदस्य थे. इस अवधि के दौरान, वे राज्य कैबिनेट में मंत्री भी थे. सांसद भी रह चुके हैं. बिहार में अति पिछड़ा वर्ग की आबादी लगभग 36% है. मंगनी लाल मंडल को प्रदेश अध्यक्ष बनाकर चुनावी वर्ष में जातीय समीकरण साधने की कोशिश में राजद है. अत्यंत पिछड़ा वर्ग को साधने की कोशिश होगी. जगदानंद सिंह की जगह मंगनी लाल मंडल को बिहार आरजेडी अध्यक्ष का जिम्मेदारी मिल सकती है. फिलहाल उनके नाम का औपचारिक ऐलान बाकी है.
मंगनी लाल मंडल अति पिछड़ों के बड़े नेता माने जाते हैं. बिहार में अति पिछड़ा वर्ग की आबादी सबसे अधिक लगभग 36% है. मंगनी लाल मंडल को प्रदेश अध्यक्ष बनाकर चुनावी वर्ष में जातीय समीकरण साधने की कोशिश में आरजेडी है. अत्यंत पिछड़ा वर्ग को साधने की कोशिश होगी. बिहार की सियासत जाति के इर्द गिर्द घूमती है. विकास और मुद्दों की बात सियासी दल तो कर रहे हैं. साथ में जातीय समीकरण सेट करने में भी जुटे हैं.
समीकरणों के हिसाब से नए अध्यक्ष का नाम तय
मंगनी लाल का नाम सामने आने के बाद यह साफ हो गया है कि लालू यादव और तेजस्वी यादव ने अब नए समीकरणों के हिसाब से नए अध्यक्ष का नाम तय कर लिया है. इससे विधानसभा चुनाव को लॉन्ग टर्म लेवल पर मैनेज करने की कोशिश की जाएगी. साथ ही आरजेडी के सीनियर नेताओं में किसी तरह के असंतोष को भी दूर करने की कोशिश की जाएगी. बताया जा रहा है कि मंगनी लाल मंडल को लालू यादव का आशीर्वाद और तेजस्वी का साथ मिला है