इस अभियान में 70 साल से अधिक उम्र के बुजुर्गों को भी शामिल किया गया है. राज्य सरकार ने 4 लाख ऐसे वरिष्ठ नागरिकों के लिए विशेष रूप से *"आयुष्मान वय वंदन कार्ड"* बनाने का लक्ष्य रखा है, जिसमें आय की कोई सीमा नहीं होती और उन्हें मुफ्त इलाज की सुविधा मिलती है.
मुख्य सचिव अमृत लाल मीणा ने गुरुवार को वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से सभी जिलों के डीएम के साथ बैठक की. उन्होंने निर्देश दिया कि तय लक्ष्य हर हाल में पूरा किया जाए. बीडीओ को इसकी निगरानी की जिम्मेदारी दी गई है और जिलों के आपूर्ति पदाधिकारियों को इस अभियान का नोडल पदाधिकारी नियुक्त किया गया है.
अभियान की सफलता के लिए 62 हजार आशा कार्यकर्ताओं को काम में लगाया गया है. इसके साथ ही, हर प्रखंड में एक महीने के लिए डेडिकेटेड डाटा एंट्री ऑपरेटर भी रखे जाएंगे जो आयुष्मान कार्ड बनाने के काम में मदद करेंगे. प्रखंड आपूर्ति पदाधिकारी और अन्य पदाधिकारियों को निर्देश दिया गया है कि वे पात्र लाभार्थियों को कैंप तक लाने में सहायता करें और इस बारे में लोगों को जागरूक करें ताकि कोई भी व्यक्ति योजना से वंचित न रह जाए.
क्या है आयुष्मान कार्ड?
आयुष्मान कार्ड भारत सरकार की 'आयुष्मान भारत–प्रधानमंत्री जन आरोग्य योजना (AB-PMJAY)' के तहत जारी किया जाता है. इसके तहत आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को हर साल 5 लाख तक के कैशलेस मुफ्त इलाज की सुविधा दी जाती है. यह कार्ड देशभर के पंजीकृत अस्पतालों में मान्य होता है.